
अलवर । कांग्रेस पार्टी की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी एवं राहुल गांधी पर प्रवर्तन निदेशालय की कार्रवाई को राजनीतिक प्रतिशोध से प्रेरित बताते हुए जिला कांग्रेस कमेटी की ओर से मोती डूंगरी स्थित आयकर विभाग कार्यालय के सामने विरोध प्रदर्शन किया गया। प्रदर्शन में नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली शामिल हुए। इस दौरान कार्यकर्ताओं ने भाजपा सरकार विरोधी नारे लगाए और आरोप लगाया कि सरकार सरकारी एजेंसी का दुरूपयोग कर रही हैं। इस अवसर पर नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली ने कहा, भाजपा सत्ता में आने के बाद से ही राष्ट्रीय एजेंसियों का दुरुपयोग कर रही है, चाहे वह ईडी हो, इनकम टैक्स हो या सीबीआई। मनी लॉन्ड्रिंग नहीं हुई है, एक भी पैसे का लेन-देन नहीं हुआ है, जिस परिवार ने अपनी संपत्ति दान कर दी आज आप उन्हें कैसे परेशान कर रहे हैं। क्या ईडी ने आज तक किसी भाजपा नेता के खिलाफ कोई कार्रवाई की है। उन्होंने कहा कि ये विपक्ष के नेताओं पर और लोकतांत्रिक व्यवस्थाओं पर कुठाराघात है। भाजपा नफरत फैलाकर देश को गुमराह कर रही है।
उन्होंने कहा कि नेशनल हेराल्ड की संपत्ति जब्त करना और पार्टी नेतृत्व के खिलाफ चार्जशीट सरकार का अन्यायपूर्ण और मनमाना कदम है। कांग्रेस पार्टी ने भारत की आत्मा के लिए लड़ाई लड़ी है और फिर से लड़ेंगे। उन्होंने कहा कि देश में इस तरह का माहौल बनाया जा रहा है जैसे कोई बहुत बड़ा घोटाला हो गया है। भाजपा बार-बार लोकतंत्र की हत्या करने का काम करती हैं। ईडी पहले भी जांच कर चुकी है। क्लीन चिट भी मिल चुकी है। अब फिर से मामला शुरू कर दिया। ये झूठा मामला है, इसमें कोई दम नहीं है। उन्होंने कहा कि जिस एजेंसी के माध्यम से लड़ाई को कोर्ट में लाया गया है, उसका एकमात्र उद्देश्य विपक्ष को परेशान करना है। गुजरात में एक सम्मेलन होता है, राहुल गांधी पहुंचते हैं और यहां चार्जशीट दाखिल की जाती है। आप क्रोनोलॉजी समझ सकते हैं।
भाजपा के खिलाफ बोले इसलिए की कार्रवाई
जूली ने कहा कि पूर्व मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास मुखरता से भाजपा सरकार के खिलाफ आवाज उठा रहे हैं। इसी से डरकर भाजपा सरकार ने केन्द्रीय एजेंसियों को उनके घर भेज दिया है। 2020 में भी उन्हें इसी तरह परेशान करने का प्रयास हुआ था। खाचरियावास के खिलाफ राजनीतिक प्रतिशोध की भावना से की जा रही यह कार्रवाई निंदनीय है।
प्रदर्शन में यह हुए शामिल
इस दौरान जिलाध्यक्ष योगेश मिश्रा, विधायक दीपचंद खेरिया, ललित यादव, कांति मीणा, पंकज शर्मा, लीली यादव, डिपेंडर सैनी, बलराम यादव, राजेश कृष्ण सिद्ध, गौरीशंकर विजय, गफूर खान, उमर दिन खान, विश्राम गुर्जर, रामराज मीणा, मुकेश सारवान सहित बड़ी संख्या में कार्यकर्ता मौजूद रहे।
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