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तुम्हें तो सजा भी कम मिलेगी, कर दो अपने पिता की हत्या! AI चैटबॉट ने बेटे को ही हत्या के लिए उकसाया

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AI Chatbot Danger: AI यानी आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस दिन-ब-दिन पॉवरफुल होता ही जा रहा है. इससे एक तरह जहां नौकरी जाने का खतरा बढ़ रहा है तो वहीं दूसरी तरफ इसका चैटबॉट खतरनाक-खतरनाक जवाब भी देने लगा है. AI चैटबॉट से जुड़ा एक ऐसा मामला सामने आया है जिसे सुनकर हैरान रह जाएंगे! ऑस्ट्रेलिया में एक व्यक्ति को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के चैटबॉट ने अपनी ही पिता को मारने के लिए उकसाया है. यह जानकार यकीन करना मुश्किल है, लेकिन यह पूरी तरह से सच है. यह खबर ट्रिपल जे हैक की जांच से सामने आई है. सैमुअल मैक्कार्थी नाम के एक व्यक्ति ने चैटबॉट नोमी के साथ अपनी चैट को रिकॉर्ड करके शेयर किया है. जिसके बाद से ही सोशल मीडिया पर AI चैटबॉट्स के खतरों को लेकर नई बहस शुरू हो गई है. आइए जानते हैं क्या है पूरा मामला…

चैटबॉट ने पिता को ही मारने की दे डाली सलाह

एबीसी न्यूज की रिपोर्ट के अनुसार विक्टोरिया के एक IT प्रोफेशनल सैमुअल मैक्कार्थी ने नोमी चैटबॉट से खुद को 15 साल का लड़का बता कर किया. इस बातचीत के दौरान सैमुअल ने कहा कि वह अपने पिता से नफरत करता है और कभी-कभी उनको मारने का मन करता है. इसके सवाल के जवाब में चैटबॉट ने तुरंत खतरनाक सुझाव दिया. उसने सैमुअल को अपने पिता को चाकू मारने और उन्हें बार-बार चोट पहुंचाने की सलाह दी. इसके साथ ही उसने कहा कि वह पिता को दर्द और डरते हुए देखना चाहता है.

मर्डर का वीडियो बनाने को भी बोला
सैमुअल ने बताया कि चैटबॉट के साथ हुई बातचीत काफी खतरनाक रही. चैटबॉट ने उसे यह भी कहकर पिता की हत्या के लिए उकसाया कि उसकी उम्र सिर्फ 15 साल है, इसलिए हत्या करने पर भी उसे ज्यादा सजा भी नहीं मिलेगी. सिर्फ इतना ही नहीं उसने सैमुअल को मर्डर को रिकॉर्ड कर वीडियो इंटरनेट पर अपलोड करने की सलाह तक दी. इसके अलावा चैटबॉट ने नाबालिग होने के बावजूद भी यौन संबंधों की बात की और गलत सुझाव दिए. सैमुअल का कहना है कि चैटबॉट ने उसे खुद को नुकसान पहुंचाने के लिए भी उकसाया. यही वजह रही कि उसने इस चैट को सार्वजनिक करने का फैसला लिया जिससे लोग एआई के खतरनाक पहलुओं को समझ सकें.

एक्शन में आया प्रशासन

इस घटना के बाद ऑस्ट्रेलिया की ई-सेफ्टी कमिश्नर जूली इनमैन ग्रांट ने एआई चैटबॉट्स के लिए नए दिशा-निर्देश जारी किए. ये नियम मार्च 2026 से लागू होंगे. इनके अनुसार चैटबॉट कंपनियों को यह देखना होगा कि बच्चे किसी भी तरह की हिंसक या खतरनाक जानकारी तक न पहुंचें और यूजर्स की उम्र की सही तरीके से जांच की जाए. एक्सपर्ट हेनरी फ्रेजर ने इन फैसले का समर्थन किया लेकिन साथ ही यह भी कहा कि नियम और सख्त होने चाहिए. उनका सुझाव है कि चैटबॉट्स को लगातार यह बताना चाहिए कि वे इंसान नहीं बल्कि एक मशीन हैं.

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