नई दिल्ली: भारतीय क्रिकेट को मौजूदा सफलता की ऊंचाई तक पहुंचाने में सौरव गांगुली का बड़ा योगदान माना जाता है। सौरव गांगुली की कप्तानी में ही टीम इंडिया की सफलताओं का नया दौर शुरू हुआ था। सौरव गांगुली मैदान पर बेहद फाइटर किस्म के प्लेयर माने जाते थे, लेकिन मैदान के बाहर उनका अलग ही रूप देखने को मिलता था। गांगुली के साथ खेले क्रिकेटरों ने कई बार बताया है कि क्रिकेट ग्राउंड से बाहर 'दादा' के नाम से मशहूर गांगुली बेहद इमोशनल व्यक्ति थे, जिन्हे छोटी सी बात भी दिल को छू जाती थी। मैदान से बाहर उनका यह इमोशनल रूप भारतीय क्रिकेट फैंस ने भी कई बार देखा है, जिनमें लॉर्ड्स के पवेलियन में टीम इंडिया के ट्रॉफी जीतने पर गांगुली का जोश में टीशर्ट उतारकर जश्न मनाना भी शामिल है। गांगुली के इमोशनल होने का एक ऐसा ही किस्सा टीम इंडिया के ड्रेसिंग रूम का भी है, जिसके बारे में पिछले दिनों गांगुली के उपकप्तान रहे दिग्गज प्लेयर राहुल द्रविड़ ने भी एक पॉडकास्ट में बताया था। दरअसल पूरी टीम ने मिलकर गांगुली के साथ कुछ ऐसा किया था कि भावुक होकर उनकी आंखों से आंसू बहने लगे थे। टीम इंडिया के ड्रेसिंग रूम के अंदर हुई यह घटना क्या थी, चलिए हम आपको बताते हैं।
ऐसे में आइए आज के स्पोर्ट्स स्कैन में हम आपको बताएंगे कि आखिर उस दिन ऐसा क्या हुआ था कि टीम इंडिया के पूर्व कप्तान सौरव गांगूली ड्रेसिंग रूम में रोने लगे थे और यहां तक कि यह कह दिया था कि वह टीम की कप्तानी भी छोड़ देंगे।
गांगुली के साथ किया था टीम ने प्रैंकदरअसल इस किस्से में पूरी भारतीय क्रिकेट टीम ने मिलकर गांगुली के साथ प्रैंक प्लान किया था। प्लेयर्स ने गांगुली को अखबार में छपे उनके एक कमेंट को लेकर झूठा गुस्सा दिखाया। गांगुली ड्रेसिंग रूम में आए तो हर कोई गुस्से का नाटक करते हुए उनसे बात नहीं कर रहा था। गांगुली इससे चौंक गए। उन्होंने पूछा तो अखबार के कमेंट वाली बात सामने आई। इस पर गांगुली ने कहा कि मैंने तो ऐसा कोई बयान नहीं दिया है। ये सब झूठ है।
हरभजन-नेहरा ने किया कुछ ऐसा, दादा की भर आई आंखेंगांगुली जब पूरी टीम के सामने सफाई दे रहे थे, तो हरभजन सिंह और आशीष नेहरा ने झूठा गुस्सा दिखाते हुए उनकी बात नहीं सुनने का बहाना किया। इसके बाद गांगुली मनाते रहे और वे ड्रेसिंग रूम से बाहर चले गए। ये देखकर गांगुली इमोशनल हो गए और उनकी आंखों से आंसू बहने लगे। उन्होंने टीम के प्लेयर्स को यकीन नहीं होने की बात कहकर कप्तानी छोड़ने का ऐलान कर दिया। इससे सारे साथी सकते में आ गए।
द्रविड़ ने संभाला इसके बाद मामलाराहुल द्रविड़ ने जब सौरव गांगुली को इमोशनल होकर इस्तीफे का ऐलान करते हुए देखा तो वे समझ गए कि अब बात हाथ से बाहर हो गई है। द्रविड़ जानते थे कि गांगुली सच में इस्तीफा दे देंगे। इसके बाद उन्होंने पूरा मामला संभाला और गांगुली को असली बात बताई। द्रविड़ ने जब यह कहा कि दादा पूरी टीम आपका अप्रैल फूल बना रही है तो गांगुली सच में भड़क गए। उन्होंने अपना बैट उठाया और टीम के सभी प्लेयर्स को ड्रेसिंग रूम से बाहर दौड़ा लिया। यह किस्सा उन सभी क्रिकेटरों के बीच आज भी चर्चा में रहता है।
ऐसे में आइए आज के स्पोर्ट्स स्कैन में हम आपको बताएंगे कि आखिर उस दिन ऐसा क्या हुआ था कि टीम इंडिया के पूर्व कप्तान सौरव गांगूली ड्रेसिंग रूम में रोने लगे थे और यहां तक कि यह कह दिया था कि वह टीम की कप्तानी भी छोड़ देंगे।
गांगुली के साथ किया था टीम ने प्रैंकदरअसल इस किस्से में पूरी भारतीय क्रिकेट टीम ने मिलकर गांगुली के साथ प्रैंक प्लान किया था। प्लेयर्स ने गांगुली को अखबार में छपे उनके एक कमेंट को लेकर झूठा गुस्सा दिखाया। गांगुली ड्रेसिंग रूम में आए तो हर कोई गुस्से का नाटक करते हुए उनसे बात नहीं कर रहा था। गांगुली इससे चौंक गए। उन्होंने पूछा तो अखबार के कमेंट वाली बात सामने आई। इस पर गांगुली ने कहा कि मैंने तो ऐसा कोई बयान नहीं दिया है। ये सब झूठ है।
हरभजन-नेहरा ने किया कुछ ऐसा, दादा की भर आई आंखेंगांगुली जब पूरी टीम के सामने सफाई दे रहे थे, तो हरभजन सिंह और आशीष नेहरा ने झूठा गुस्सा दिखाते हुए उनकी बात नहीं सुनने का बहाना किया। इसके बाद गांगुली मनाते रहे और वे ड्रेसिंग रूम से बाहर चले गए। ये देखकर गांगुली इमोशनल हो गए और उनकी आंखों से आंसू बहने लगे। उन्होंने टीम के प्लेयर्स को यकीन नहीं होने की बात कहकर कप्तानी छोड़ने का ऐलान कर दिया। इससे सारे साथी सकते में आ गए।
द्रविड़ ने संभाला इसके बाद मामलाराहुल द्रविड़ ने जब सौरव गांगुली को इमोशनल होकर इस्तीफे का ऐलान करते हुए देखा तो वे समझ गए कि अब बात हाथ से बाहर हो गई है। द्रविड़ जानते थे कि गांगुली सच में इस्तीफा दे देंगे। इसके बाद उन्होंने पूरा मामला संभाला और गांगुली को असली बात बताई। द्रविड़ ने जब यह कहा कि दादा पूरी टीम आपका अप्रैल फूल बना रही है तो गांगुली सच में भड़क गए। उन्होंने अपना बैट उठाया और टीम के सभी प्लेयर्स को ड्रेसिंग रूम से बाहर दौड़ा लिया। यह किस्सा उन सभी क्रिकेटरों के बीच आज भी चर्चा में रहता है।
You may also like

वंदे मातरम सिर्फ राष्ट्रीय गीत नहीं, बल्कि एक मंत्र है: मंत्री आशीष सूद

लॉस एंजिल्स ओलंपिक में पुरुष और महिला वर्ग में छह-छह टीमें हिस्सा लेंगी: आईसीसी

मोहन भागवत: दूसरों के प्रति करुणा मानवता का सबसे बड़ा गुण

पद्मश्री से सम्मानित वरिष्ठ नाटककार दया प्रकाश सिन्हा का निधन, हिंदी साहित्य और रंगमंच को बड़ा नुकसान

प्रलय वालेˈ दिन के लिए बनाई गई है ये तिजोरी अंदर छिपी है खास चीज भारत ने भी दिया अपना हिस्सा﹒




