मुरादाबाद के तीर्थंकर महावीर यूनिवर्सिटी (TMU) में एक दिल दहला देने वाला हादसा सामने आया है। बीएससी नर्सिंग की एक छात्रा ने यूनिवर्सिटी की तीसरी मंजिल से छलांग लगा दी। गंभीर हालत में उसे तुरंत टीएमयू अस्पताल ले जाया गया, लेकिन इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। छात्रा का नाम दीक्षा था और वह नर्सिंग की पढ़ाई कर रही थी। पुलिस इस मामले की गहन जांच कर रही है। यह घटना गुरुवार दोपहर करीब 3 बजे की है।
क्या हुआ उस दिन?पाकबड़ा थाने के SHO योगेश मावी ने बताया कि दीक्षा संभल जिले के असमोली की रहने वाली थी। वह टीएमयू में बीएससी नर्सिंग के अंतिम सेमेस्टर की छात्रा थी। गुरुवार को वह रोज की तरह अपने गांव से कॉलेज की बस से यूनिवर्सिटी पहुंची थी। क्लास अटेंड करने के बाद, दोपहर 2:10 बजे वह 16 अन्य छात्राओं के साथ परीक्षा देने गई। परीक्षा 2:50 बजे खत्म हुई। इसके बाद बाकी छात्राएं सीढ़ियों से नीचे चली गईं, लेकिन दीक्षा वहीं रुक गई। कुछ देर बाद वह गैलरी में गई और खिड़की से नीचे झांकने लगी। फिर दोपहर 3:53 बजे वह खिड़की पर चढ़ी और नीचे कूद गई। यह पूरी घटना कैंपस के सीसीटीवी कैमरों में रिकॉर्ड हो गई है।
सुसाइड की वजह: रहस्य बरकरारदीक्षा ने ऐसा कदम क्यों उठाया, इसका कारण अभी तक सामने नहीं आया है। पुलिस को मौके पर कोई सुसाइड नोट नहीं मिला। यूनिवर्सिटी प्रशासन ने भी इस बारे में कोई स्पष्ट जानकारी नहीं दी है। दीक्षा के परिजनों को भी अभी मीडिया से दूर रखा गया है। इस रहस्यमयी घटना ने कई सवाल खड़े कर दिए हैं। क्या यह टीचरों का दबाव था या सहपाठियों की कोई हरकत? जवाब अभी पुलिस की जांच पर टिका है।
यूनिवर्सिटी का बयानटीएमयू के मीडिया प्रभारी डॉ. एम पी सिंह ने एक प्रेस रिलीज जारी कर यूनिवर्सिटी का पक्ष रखा। उनके मुताबिक, दीक्षा संभल के असमोली की रहने वाली थी और बीएससी नर्सिंग थर्ड ईयर की छात्रा थी। गुरुवार दोपहर करीब 2:52 बजे वह कैंपस की एक बिल्डिंग की तीसरी मंजिल से कूद गई। उसे तुरंत टीएमयू हॉस्पिटल के इमरजेंसी वार्ड में भर्ती किया गया, जहां विशेषज्ञ डॉक्टरों की टीम ने उसका इलाज शुरू किया। दोपहर 3:22 बजे दीक्षा की क्लास कोऑर्डिनेटर ने उसके पिता को फोन कर घटना की जानकारी दी। कॉलेज के वाइस प्रिंसिपल ने भी दीक्षा के पिता जन्म सिंह और पुलिस से बात की।
TMU का विवादों से पुराना नातातीर्थंकर महावीर यूनिवर्सिटी पहले भी ऐसी दुखद घटनाओं को लेकर सुर्खियों में रही है। मेडिकल छात्राओं और कुछ महिला प्रोफेसरों की आत्महत्याओं ने इस कैंपस को चर्चा का विषय बनाया है। इन घटनाओं के खिलाफ समय-समय पर धरना-प्रदर्शन भी हुए हैं। इस ताजा घटना ने एक बार फिर यूनिवर्सिटी प्रशासन पर सवाल उठाए हैं।
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